भोपाल
कांग्रेस के मई में हुए उदयपुर चिंतन शिविर में लिए गए निर्णय मध्यप्रदेश में बेअसर नजर आ रहे हैं। इस चिंतन शिविर का हवाला देकर पीसीसी चीफ कमलनाथ ने कई पदाधिकारियों को एक-एक पद छोड़ने के निर्देश दिए थे। कई ने पद छोड़े भी दिए, लेकिन इसके बाद हाल ही में कांग्रेस के विभागों में हुए बदलाव में ऐसे ही नेताओं को महत्व दिया गया जो विधायक है, पूर्व से एक पद भी है और उन्हें इन महत्वपूर्ण विभागों की जिम्मेदारी भी दे दी। इसमें से एक विधायक एसटी विभाग का पदभार 2 सितंबर को ले सकते हैं।
प्रदेश कांग्रेस ने हाल ही में अपने चारों प्रमुख विभाग अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अल्पसंख्यक और पिछड़ा वर्ग विभाग के प्रदेश अध्यक्षों को बदला। इसमें अजजा विभाग के प्रदेश अध्यक्ष की कमान विधायक ओमकार सिंह मरकाम को दी, जबकि ओबीसी विभाग का प्रदेश अध्यक्ष सतना विधायक सिद्धार्थ कुशवाह को बनाया। सिद्धार्थ कुशवाह हाल ही में सतना से महापौर का चुनाव लड़े थे, लेकिन वे जीत नहीं सके। वे प्रदेश युवा कांग्रेस में भी पदाधिकारी हैं। उन्होंने तीन दिन पहले ही ओबीसी विभाग का पदभार ग्रहण किया है। वहीं ओमकार सिंह मरकाम 2 सितम्बर को अजजा विभाग के प्रदेश अध्यक्ष का पदभार ग्रहण कर सकते हैं।
नहीं मजबूत फिर भी संगठन ने दी जिम्मेदारी
सतना से महापौर का चुनाव लड़े सिद्धार्थ कुशवाह की लंबी हार हुई है। वे प्रदेश युवा कांग्रेस के चुनाव भी लड़े थे, जिसके बाद में प्रदेश सचिव निर्वाचित हुए थे। बाद में उन्हें युवा कांग्रेस का प्रदेश उपाध्यक्ष बना दिया गया। इसके बाद उन्हें सतना से महापौर का टिकट भी दिया गया। इस दौरान उन्हें पिछड़ा वर्ग विभाग का प्रदेश अध्यक्ष भी बनाया गया। पीसीसी चीफ यह भी कह चुके हैं कि जिन्हें विधानसभा का चुनाव लड़ना है, वे संगठन का पद छोड़ कर अपने क्षेत्र में सक्रिय रहें।