रायपुर
छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने शुक्रवार को कहा कि उनके राज्य में भी जल्द ही प्रर्वतन निदेशालय (ईडी) और आयकर (आईटी) विभाग के छापे पड़ते नजर आएंगे, क्योंकि झारखंड के सत्तारूढ़ गठबंधन के विधायक रायपुर के पास एक रिसॉर्ट में ठहरे हुए हैं।
राजधानी रायपुर में हेलीपैड पर पत्रकारों से बात करते हुए सीएम बघेल ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर निशाना साधते हुए कहा कि उसे लोकतंत्र में विश्वास नहीं है। मुख्यमंत्री ने कहा कि संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (यूपीए) के घटक दलों झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो), कांग्रेस और राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के विधायकों को लोकतंत्र की रक्षा करने के लिए रायपुर के बाहरी क्षेत्र में एक रिसॉर्ट में रखा गया है।
उन्होंने कहा कि भाजपा को लोकतंत्र में यकीन नहीं है। झारखंड के (सत्तारूढ़ गठबंधन के) विधायक रायपुर में ठहरे हुए हैं और हमने उनका स्वागत किया है। अब भाजपा इसका विरोध कर रही है। मेरे शुभचिंतकों ने मुझे सूचना दी है कि शीघ्र ही छत्तीसगढ़ में ईडी और आईटी के छापे पड़ने वाले हैं क्योंकि हमने झारखंड के विधायकों को यहां ठहरा रखा है।
उन्होंने कहा कि झारखंड के विधायक कहीं भी जा सकते थे, लेकिन वे छत्तीसगढ़ आए। मुझे अच्छी तरह पता था कि यदि मैं उन्हें यहां ठहरने के लिए बुलाऊंगा तो राज्य पर ईडी और आईटी की कार्रवाई होगी, लेकिन यह लोकतंत्र की रक्षा के लिए जरूरी है।
उधर, भारतीय जनता युवा मोर्चा (भाजयुमो) के कार्यकर्ता शुक्रवार दोपहर करीब तीन बजे नया रायपुर में मेफेयर गोल्फ रिसॉर्ट के पास पहुंच गए, जहां झारखंड के सत्तारूढ़ गठबंधन के विधायक ठहरे हुए हैं, लेकिन पुलिस ने उन्हें आगे बढ़ने से रोक दिया और कुछ देर के लिए हिरासत में लिया।
इन भाजयुमो कार्यकर्ताओें के हाथों में पोस्टर थे जिन पर लिखा था, ''अंकिता हम शर्मिंदा हैं, तेरे कातिल जिंदा है।'' झारखंड के दुमका जिले में एक व्यक्ति ने बारहवीं कक्षा की छात्रा अंकिता को कथित रूप से आग लगा दी थी और उस छात्रा ने अस्पताल में इलाज के दौरान दम तोड़ दिया था।
भाजयुमो के प्रदेश अध्यक्ष अमित साहू ने कहा, ''झारखंड में अराजकता है तथा कानून व्यवस्था चरमरा गई है। लड़कियां सुरक्षित नहीं हैं, लेकिन सत्तारूढ़ संप्रग के विधायक रायपुर में पिकनिक मना रहे हैं। छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार ने राज्य में मद्यनिषेध लागू करने का वादा किया था, लेकिन वह झारखंड के विधायकों को शराब परोस रही है।
एक अधिकारी ने बताया कि भाजयुमो के 41 कार्यकर्ताओं को हिरासत में लिया गया और उन्हें बस से राखी थाने ले जाया गया, जहां उन्हें बिना शर्त छोड़ दिया गया।
बता दें कि, झामुमो-कांग्रेस-राजद गठबंधन सरकार ने मंगलवार को अपने 32 विधायकों को रायपुर पहुंचा दिया था। माना जा रहा है कि उसने राज्य में वर्तमान राजनीतिक संकट के मद्देनजर विपक्षी भाजपा द्वारा विधायकों की कथित खरीद फरोख्त के प्रयासों को विफल करने के लिए यह कदम उठाया है।